BNSS में अपील, पुनर्विचार और पुनर्निरीक्षण की प्रक्रिया: न्याय को अंतिम स्तर तक पहुँचाने का माध्यम
श्रेणी: आपराधिक प्रक्रिया | BNSS Series
✍️ परिचय:
जब किसी व्यक्ति को न्यायालय का निर्णय अस्वीकार्य लगता है — चाहे वह आरोपी हो या पीड़ित — तो उसे उच्च न्यायालय में अपील, या निर्णय पर पुनर्विचार / पुनर्निरीक्षण करने का अधिकार होता है। BNSS ने इन प्रक्रियाओं को अधिक सुनियोजित, तकनीकी और पारदर्शी बनाया है।
🔁 मुख्य प्रक्रियाएँ BNSS में:
1. अपील (Appeal) – धारा 420 से 430
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दोष सिद्ध आरोपी, बरी हुआ आरोपी या पीड़ित सभी को अपील का अधिकार है।
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सत्र न्यायालय, उच्च न्यायालय, और सर्वोच्च न्यायालय में अपील की अलग-अलग व्यवस्था है।
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अब अपील डिजिटल फॉर्मेट में भी दायर की जा सकती है।
2. पुनर्विचार याचिका (Review Petition):
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यदि न्यायालय ने किसी महत्वपूर्ण तथ्य या विधिक बिंदु पर ध्यान नहीं दिया हो, तो उसी न्यायालय में पुनर्विचार की याचिका दी जा सकती है।
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यह याचिका निर्णय के 30 दिनों के भीतर दायर करनी होती है।
3. पुनर्निरीक्षण (Revision) – धारा 439:
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निचली अदालत के निर्णय में कानूनी त्रुटि हो तो उच्च न्यायालय में पुनर्निरीक्षण याचिका दायर की जा सकती है।
📌 BNSS में नए प्रावधान:
| विषय | CrPC | BNSS |
|---|---|---|
| अपील | पेपर आधारित प्रक्रिया | ऑनलाइन अपील और ई-रिकॉर्ड स्वीकार |
| पीड़ित की अपील | सीमित | पीड़ित को भी अपील का स्पष्ट अधिकार (धारा 422) |
| समय सीमा | अस्पष्ट | स्पष्ट समय सीमा निर्धारित (धारा 424) |
| आदेश की डिजिटल कॉपी | सीमित | डिजिटल सर्टिफाइड कॉपी मान्य (धारा 430) |
🎯 उदाहरण:
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एक भ्रष्टाचार के मामले में आरोपी ने 7 साल की सजा को लेकर सत्र न्यायालय में अपील की, जिसे BNSS के तहत ई-फाइलिंग द्वारा दायर किया गया।
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एक पीड़िता ने आरोपी के बरी होने पर उच्च न्यायालय में अपील याचिका दायर की और कोर्ट ने पुनः सुनवाई का आदेश दिया।
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एक केस में तकनीकी गलती को लेकर पुनर्निरीक्षण दायर कर कोर्ट का निर्णय बदला गया।
❗ ध्यान दें:
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अपील और पुनर्विचार/पुनर्निरीक्षण का उद्देश्य न्याय को सुधारना, न कि प्रक्रिया को लंबा खींचना है।
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समय सीमा का पालन न करने पर याचिका खारिज की जा सकती है।
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BNSS अब इन प्रक्रियाओं में डिजिटल ट्रैकिंग और पारदर्शिता को अनिवार्य बनाता है।
निष्कर्ष:
BNSS में अपील और पुनर्विचार की प्रक्रिया को अधिक सुनिश्चित, तकनीकी और निष्पक्ष बनाया गया है ताकि कोई भी व्यक्ति अपने साथ हुए अन्याय के विरुद्ध न्याय की अंतिम उम्मीद तक पहुँच सके।
✉️ संपर्क करें:
क्या आप कोर्ट के निर्णय से असंतुष्ट हैं और अपील या पुनर्विचार करना चाहते हैं? अभी संपर्क करें –
एडवोकेट अनुराग गुप्ता
📱 मोबाइल: 8240642015
📲 व्हाट्सएप: 8931942803
📧 ईमेल: gripshawlaw2005@gmail.com
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