भारत का संसद: लोकतंत्र की रीढ़

 

भारत का संसद: लोकतंत्र की रीढ़

भारत में संसद (Parliament) लोकतंत्र का सबसे महत्वपूर्ण संस्थान है, जहाँ कानून बनाए जाते हैं और देश की नीतियों पर बहस होती है। यह संविधान के तहत सर्वोच्च विधायी निकाय है और सरकार को जवाबदेह बनाता है।

इस ब्लॉग में हम जानेंगे:
संसद की संरचना और इसके तीन भाग
लोकसभा और राज्यसभा का गठन और कार्य
संसद की शक्तियाँ और कार्यप्रणाली
महत्वपूर्ण संसदीय प्रक्रियाएँ


भारत की संसद क्या है?

📌 भारत की संसद संविधान के अनुच्छेद 79 के तहत स्थापित की गई है।
📌 इसमें तीन भाग होते हैं:
1️⃣ राष्ट्रपति (President)
2️⃣ लोकसभा (Lok Sabha - निचला सदन)
3️⃣ राज्यसभा (Rajya Sabha - उच्च सदन)

👉 संसद का मुख्य कार्य कानून बनाना और सरकार की गतिविधियों की निगरानी करना है।


लोकसभा: जनता द्वारा चुना गया सदन

📌 लोकसभा को "जनता का सदन" (House of the People) कहा जाता है।
📌 इसके सदस्य सीधे जनता द्वारा चुने जाते हैं
📌 लोकसभा की कुल सीटें 552 तक हो सकती हैं (वर्तमान में 543 निर्वाचित सदस्य)।
📌 प्रत्येक सांसद अपने क्षेत्र (लोकसभा क्षेत्र) का प्रतिनिधित्व करता है।

लोकसभा की विशेषताएँ:

कार्यकाल: 5 वर्ष (लेकिन आपातकाल में बढ़ाया जा सकता है)।
लोकसभा भंग की जा सकती है।
लोकसभा का अध्यक्ष (Speaker) सदन की कार्यवाही संचालित करता है।
लोकसभा में ही सरकार का गठन होता है और प्रधानमंत्री यहीं से चुने जाते हैं।

👉 संविधान का अनुच्छेद 81 लोकसभा की संरचना को परिभाषित करता है।


राज्यसभा: राज्यों का प्रतिनिधित्व करने वाला सदन

📌 राज्यसभा को "राज्यों का सदन" (Council of States) कहा जाता है।
📌 इसके सदस्य अप्रत्यक्ष रूप से चुने जाते हैं।
📌 राज्यसभा की अधिकतम सदस्य संख्या 250 हो सकती है (वर्तमान में 245)।
📌 राज्यसभा में विभिन्न राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों के प्रतिनिधि होते हैं।

राज्यसभा की विशेषताएँ:

स्थायी सदन (Permanent House), इसे भंग नहीं किया जा सकता।
हर दो साल में 1/3 सदस्य सेवानिवृत्त होते हैं।
राज्यसभा का सभापति (Chairman) भारत का उपराष्ट्रपति होता है।
राज्यसभा में नामित 12 सदस्य होते हैं, जिन्हें राष्ट्रपति विभिन्न क्षेत्रों के विशेषज्ञों में से चुनते हैं।

👉 संविधान का अनुच्छेद 80 राज्यसभा की संरचना को परिभाषित करता है।


संसद के मुख्य कार्य और शक्तियाँ

1️⃣ विधायी शक्तियाँ (Legislative Powers)

📌 संसद नए कानून बनाती है और पुराने कानूनों में संशोधन कर सकती है।
📌 कानून निर्माण तीन विषयों पर होता है:
संघ सूची (Union List): संसद को विशेष अधिकार (उदाहरण: रक्षा, विदेश नीति)।
राज्य सूची (State List): आमतौर पर राज्य सरकारें (उदाहरण: पुलिस, स्वास्थ्य)।
समवर्ती सूची (Concurrent List): दोनों को अधिकार (उदाहरण: शिक्षा, वन, श्रम कानून)।

2️⃣ वित्तीय शक्तियाँ (Financial Powers)

📌 लोकसभा ही बजट पारित कर सकती है।
📌 कोई भी धन विधेयक (Money Bill) पहले लोकसभा में पेश होता है।
📌 राज्यसभा को धन विधेयक पर केवल सलाह देने का अधिकार है।

👉 अनुच्छेद 110 में धन विधेयक की परिभाषा दी गई है।

3️⃣ कार्यकारी नियंत्रण (Executive Control)

📌 सरकार संसद के प्रति उत्तरदायी होती है।
📌 संसद के सदस्य सरकार से सवाल पूछ सकते हैं और उसकी नीतियों की आलोचना कर सकते हैं।
📌 यदि सरकार लोकसभा में बहुमत खो देती है, तो उसे इस्तीफा देना पड़ता है।

4️⃣ न्यायिक शक्तियाँ (Judicial Powers)

📌 संसद राष्ट्रपति, उपराष्ट्रपति, सुप्रीम कोर्ट और हाईकोर्ट के न्यायाधीशों के खिलाफ महाभियोग (Impeachment) की प्रक्रिया चला सकती है।
📌 संसद के पास विशेष न्यायिक शक्तियाँ होती हैं, जैसे सांसदों की अयोग्यता तय करना।

5️⃣ संविधान में संशोधन की शक्ति (Power to Amend the Constitution)

📌 संविधान के अनुच्छेद 368 के तहत संसद को संविधान में संशोधन करने का अधिकार है।
📌 कुछ संशोधनों के लिए राज्यों की सहमति भी आवश्यक होती है।


महत्वपूर्ण संसदीय प्रक्रियाएँ

1️⃣ प्रश्नकाल (Question Hour)

📌 संसद की कार्यवाही का पहला घंटा, जिसमें सांसद सरकार से सवाल पूछते हैं।

2️⃣ शून्यकाल (Zero Hour)

📌 प्रश्नकाल के बाद बिना पूर्व सूचना के सांसद किसी भी महत्वपूर्ण मुद्दे को उठा सकते हैं।

3️⃣ अविश्वास प्रस्ताव (No-Confidence Motion)

📌 यदि लोकसभा को लगता है कि सरकार ठीक से कार्य नहीं कर रही, तो अविश्वास प्रस्ताव लाकर सरकार को गिराया जा सकता है।

4️⃣ स्थगन प्रस्ताव (Adjournment Motion)

📌 किसी अत्यावश्यक सार्वजनिक मुद्दे पर चर्चा करने के लिए संसद की कार्यवाही स्थगित करने का प्रस्ताव।

5️⃣ संयुक्त सत्र (Joint Session - Article 108)

📌 यदि लोकसभा और राज्यसभा किसी विधेयक पर सहमत नहीं होते, तो संयुक्त सत्र बुलाया जाता है।


महत्वपूर्ण अनुच्छेद (Important Articles)

📌 अनुच्छेद 79: संसद की स्थापना।
📌 अनुच्छेद 80: राज्यसभा की संरचना।
📌 अनुच्छेद 81: लोकसभा की संरचना।
📌 अनुच्छेद 85: संसद सत्र बुलाने की प्रक्रिया।
📌 अनुच्छेद 110: धन विधेयक की परिभाषा।
📌 अनुच्छेद 112: वार्षिक बजट की प्रस्तुति।
📌 अनुच्छेद 368: संविधान संशोधन की प्रक्रिया।


निष्कर्ष

भारतीय संसद देश की लोकतांत्रिक प्रणाली की रीढ़ है। यह न केवल कानून बनाती है, बल्कि सरकार की जवाबदेही भी तय करती है। संसद की कार्यवाही देश के विकास और लोकतांत्रिक सिद्धांतों को मजबूत करने के लिए आवश्यक है।

📌 "संसद जनता की आवाज़ का प्रतिबिंब होती है, जहाँ लोकतंत्र जीवंत रहता है।"


📷 भारतीय संसद भवन
Parliament of India

क्या आप संसद से जुड़े किसी विशेष विषय पर अधिक जानकारी चाहते हैं? 😊

Comments